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मध्य प्रदेश

नर्मदापुरम: मारू नदी के पुल से रोज़ाना जोखिम में बच्चों की ज़िंदगी, ग्रामीणों ने मांगा अंडरब्रिज – चेतावनी, कार्रवाई न हुई तो 25 अगस्त को होगा चक्काजाम

संवाददाता राकेश पटेल इक्का

नर्मदापुरम। तहसील सोहागपुर के ग्राम पथरई, परसवाड़ा और सेमरीहरचंद के ग्रामीण लंबे समय से मारू नदी पर बने रेलवे पुल से गुजरने को मजबूर हैं। यह रास्ता करीब 50 से 60 गांवों को जोड़ता है, लेकिन पुल के नीचे अंडरब्रिज और सड़क न होने के कारण रोज़ाना ग्रामीण जान जोखिम में डालकर आवागमन करते हैं।

हादसे का बड़ा खतरा – बच्चों की स्कूल बस बाल-बाल बची

21 अगस्त 2025 को मारू नदी के पुल से गुजर रही एक स्कूल गाड़ी नदी में गिरते-गिरते बची। गाड़ी में 3 से 10 साल तक के छोटे-छोटे बच्चे सवार थे। गवाहों के अनुसार यह घटना बड़ा हादसा बन सकती थी। ग्रामीणों का कहना है कि यह पहली बार नहीं है, आए दिन इस रास्ते पर दुर्घटनाओं का खतरा बना रहता है।

ग्रामीणों की पीड़ा – “इकलौता यही रास्ता, हर दिन जान पर बन आती है”

ग्रामीणों ने बताया कि स्कूल, कॉलेज, अस्पताल, कृषि मंडी और शहर जाने के लिए कोई और वैकल्पिक रास्ता उपलब्ध नहीं है। मजबूरी में महिलाएं, बच्चे, बुज़ुर्ग और किसान इसी पुल से होकर गुजरते हैं। बरसात के दिनों में स्थिति और भी खतरनाक हो जाती है।

प्रशासन को दिया गया ज्ञापन

ग्राम पंचायत पथरई और सेमरीहरचंद के ग्रामीणों ने संयुक्त रूप से जिला अधिकारी को आवेदन सौंपकर पुल के नीचे अंडरब्रिज और सड़क निर्माण की मांग की है। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि यदि 24 अगस्त तक प्रशासन कोई ठोस कार्यवाही नहीं करता, तो 25 अगस्त सोमवार को सेमरीहरचंद में चक्काजाम और नारेबाज़ी की जाएगी।

प्रशासन की नींद कब खुलेगी?

ग्रामीणों का कहना है कि बार-बार निवेदन और हादसों के बावजूद अब तक कोई स्थायी समाधान नहीं निकाला गया। ग्रामीणों ने साफ कहा है कि यदि इस बार भी अनदेखी की गई तो आंदोलन तेज़ किया जाएगा और उसकी पूरी ज़िम्मेदारी जिला प्रशासन की होगी।

 

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